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लेखक रॉबर्ट कियोसाकी ने दी चेतावनी बोले – आ चुकी है दुनिया में मंदी?

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नई दिल्‍ली.
जाने-माने लेखक रॉबर्ट कियोसाकी ने एक बार फिर दुनिया में आर्थिक मंदी की चेतावनी दी है। कियोसाकी 'रिच डैड पुअर डैड' किताब के लेखक हैं। उन्‍होंने कहा है कि दुनिया पहले से ही मंदी में है। उन्होंने यह बात सोशल मीडिया प्‍लेटफॉर्म 'एक्‍स' पर एक पोस्ट में कही। कियोसाकी 2012 में 'रिच डैड्स प्रोफेसी' लिखने के बाद से ही लोगों को चेतावनी दे रहे हैं। उन्होंने लोगों को सीखने और बदलाव करने के लिए प्रोत्साहित किया। साथ ही वित्तीय सलाहकारों से सावधान रहने को कहा।

क‍ियोसाकी ने क‍िया लोगों का आगाह
रॉबर्ट कियोसाकी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्‍स पर लिखा, 'क्या दुनिया मंदी में है? मेरा जवाब है, हां।' उन्होंने कहा कि वह 2012 से ही लोगों को आगाह करने की कोशिश कर रहे हैं। कियोसाकी ने लोगों से पूछा, 'क्या सीखने और बदलाव करने में बहुत देर हो चुकी है?' उन्होंने खुद ही जवाब दिया, 'नहीं। आपके पास समय है और समय हमेशा आपके लिए एक संपत्ति है।'

कियोसाकी ने FOMO यानी 'फियर ऑफ मिसिंग आउट' (किसी चीज से छूट जाने का डर) की तुलना FOMM यानी 'फियर ऑफ मेकिंग मिस्टेक्स' (गलती करने का डर) से की। उन्होंने कहा कि स्कूल FOMM का डर पैदा करते हैं। उन्होंने लोगों को यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करके खुद को शिक्षित करने के लिए प्रोत्साहित किया। साथ ही, उन्होंने भ्रामक वित्तीय सलाहकारों से सावधान रहने की चेतावनी दी। उन्होंने कहा, 'सबसे अच्छी और सबसे खराब शिक्षा मुफ्त है।'

कियोसाकी ने आगे कहा, 'तथ्य यह है कि दुनिया मंदी में है। तथ्य यह है कि महंगाई बढ़ रही है। बेरोजगारी भी बढ़ रही है।' उन्होंने पाठकों से सोचने के लिए कहा, 'क्या यह मंदी आपको अमीर बनाएगी या गरीब? यह चुनाव आपका है और आपकी शिक्षा का चुनाव मुफ्त हो सकता है।' उन्होंने अंत में कहा, 'ध्यान रखें और इस मंदी को अपने जीवन की सबसे अच्छी चीज बनाएं। यह शक्ति केवल आपके पास है।' कियोसाकी के इन विचारों से दुनिया भर में मंदी को लेकर चिंता और बढ़ गई है।

मुश्‍क‍िल दौर से गुजर रही है दुनिया की अर्थव्‍यवस्‍था
जे.पी. मॉर्गन के मुख्य वैश्विक अर्थशास्त्री ब्रूस कासमैन ने अमेरिका में मंदी की आशंका को बढ़ा दिया है। उन्होंने कहा कि 'व्यवसाय-विरोधी नीतियां' इस खतरे को और बढ़ा सकती हैं। कासमैन ने यह भी चेतावनी दी कि अगर शासन पर भरोसा कम होता रहा तो अमेरिका में निवेश पर बुरा असर पड़ सकता है।

गोल्डमैन सैक्स और मॉर्गन स्टेनली दोनों ने ही 2025 के लिए अमेरिका के GDP विकास के अनुमान को कम कर दिया है। उनका अनुमान है कि यह 1.5% से 1.7% के बीच रहेगा। इसका मतलब है कि अमेरिका की अर्थव्यवस्था धीमी गति से बढ़ेगी। कियोसाकी की चेतावनी और अर्थशास्त्रियों के बदलते अनुमानों से पता चलता है कि दुनिया की अर्थव्यवस्था मुश्किल दौर से गुजर रही है। लोगों को अपनी वित्तीय स्थिति को लेकर सावधान रहने और सोच-समझकर फैसले लेने की जरूरत है। कियोसाकी का कहना है कि सही शिक्षा और तैयारी से लोग इस मंदी का सामना कर सकते हैं और इससे लाभ भी उठा सकते हैं।