Online News Portal for Daily Hindi News and Updates with weekly E-paper

IPL 2025 का सीजन अभी शुरू नहीं हुआ है, लेकिन रिप्लेसमेंट पर रिप्लेसमेंट देखने को मिल रहे हैं

18
Tour And Travels

नई दिल्ली
IPL 2025 का सीजन अभी शुरू नहीं हुआ है, लेकिन रिप्लेसमेंट पर रिप्लेसमेंट देखने को मिल रहे हैं। यहां तक कि एक रिप्लेसमेंट तो लीगल सूट में बदल चुका है, क्योंकि एक खिलाड़ी ने पाकिस्तान सुपर लीग को छोड़कर आईपीएल का दामन थाम लिया है। कॉर्बिन बॉश पीएसएल में खेलने वाले थे, लेकिन मुंबई इंडियंस के पेसर लिजाड विलियम्स चोटिल हो गए। ऐसे में एमआई ने कॉर्बिन के साथ करार किया और उन्होंने पीएसएल को छोड़ दिया। इस वजह से पीसीबी ने उनके खिलाफ ऐक्शन लिया है। हालांकि, आईपीएल में रिप्लेसमेंट को लेकर नियम क्या हैं? ये समझ लीजिए।

आईपीएल में रिप्लेसमेंट के नियम कुछ इस तरह हैं कि बीसीसीआई किसी खिलाड़ी के सीजन से पहले ही नहीं, बल्कि सीजन के बीच में भी चोट लगने या बीमार होने पर रिप्लेसमेंट की अनुमति देता है। हालांकि, बीसीसीआई ने इस सीजन में नियमों में थोड़ा संशोधन किया है, जिसके तहत टीम के सीजन के 12वें लीग मैच तक रिप्लेसमेंट की अनुमति दी गई है। पहले, यह केवल सातवें मैच तक की अनुमति थी।

आईपीएल में उसी खिलाड़ी को रिप्लेसमेंट के तौर पर अपने साथ जोड़ा जा सकता है, जिसने अपना नाम मौजूदा सीजन के लिए रजिस्टर कराया है। अगर किसी खिलाड़ी ने खुद को एक करोड़ रुपये की बेस प्राइस में रजिस्टर किया है और वह ऑक्शन में बिका नहीं या उसका नाम ऑक्शन पूल में आया नहीं और कोई टीम किसी खिलाड़ी के चोटिल होने पर उसे साथ में जोड़ती है तो उसके लिए फ्रेंचाइजी को कम से कम एक करोड़ खर्च करने ही होंगे, जो उसकी बेस प्राइस होगी। पैसे कम नहीं होंगे, लेकिन ज्यादा हो सकते हैं।

ऐसे कई उदाहरण हैं, जब फ्रेंचाइजी ने RAPP सूची में शामिल गेंदबाजों को नेट गेंदबाज के रूप में रखा है, लेकिन अगर कोई अन्य फ्रेंचाइजी उसे रिप्लेसमेंट के तौर पर अपने साथ जोड़ना चाहती है तो उन फ्रेंचाइजी के पास उसे रोकने का कोई अधिकार नहीं है। किसी प्रतिस्थापन खिलाड़ी को उस शुल्क पर भर्ती किया जा सकता है जो उस खिलाड़ी को देय लीग शुल्क से अधिक नहीं होना चाहिए जिसकी जगह वह खिलाड़ी लेगा।

इसके अलावा नियम ये भी है कि अगर कोई खिलाड़ी आईपीएल के दौरान चोटिल होता है और बीसीसीआई की मेडिकल टीम यह पाती है कि वह सीजन के अंत तक फिट नहीं होगा तो उसको रिप्लेस किया जा सकता है। इस केस में अगर वह खिलाड़ी फिट भी हो जाता है तो फिर सीजन में दोबारा वापसी नहीं करेगा। अगर कोई खिलाड़ी सीजन के बीच में आता है तो उस खिलाड़ी को लीग फीस के हिसाब से पैसे मिलेंगे।