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अंतिम व्यक्ति तक विकास का लाभ पहुँचाने में जन-जागरूकता तंत्र की भूमिका महत्वपूर्ण

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प्रदेश सरकार जन सुविधाओं को हर कोने हर व्यक्ति तक पहुंचाने के लिये संकल्पित – उप मुख्यमंत्री शुक्ल

अंतिम व्यक्ति तक विकास का लाभ पहुँचाने में जन-जागरूकता तंत्र की भूमिका महत्वपूर्ण

दीनदयाल शोध संस्थान चित्रकूट में “आत्मनिर्भर और स्वावलंबी आदर्श ग्राम” विषय पर कार्यशाला का किया शुभारंभ

भोपाल

उप मुख्यमंत्री राजेन्द्र शुक्ल ने कहा है कि मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नेतृत्व में प्रदेश सरकार जन सुविधाओं को हर कोने हर व्यक्ति तक पहुंचाने के लिये संकल्पित है। उन्होंने कहा कि विकास योजनाओं में जन सहभागिता सुनिश्चित करने में मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद की महत्वपूर्ण भूमिका है और आगे भी रहेगी। उन्होंने कहा कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय की सोच को साकार करते हुए अंतिम व्यक्ति तक विकास का लाभ पहुँचाने में शासन के साथ-साथ उसे जन-जागरूकता तंत्र की भूमिका महत्वपूर्ण है। उप मुख्यमंत्री शुक्ल ने दीन दयाल शोध संस्थान चित्रकूट में “आत्मनिर्भर और स्वावलंबी आदर्श ग्राम” विषय पर दो दिवसीय आवासीय प्रशिक्षण कार्यशाला का शुभारंभ किया।

उप मुख्यमंत्री शुक्ल ने कहा कि गांव में अब पहले से ज्यादा सुविधाएं हैं। आदर्श ग्रामों के विकास के लिए अनुकूल समय है। दीनदयाल शोध संस्थान का मार्गदर्शन और मध्यप्रदेश जनअभियान परिषद का समर्पण इस दिशा में निर्णायक बदलाव ला सकता है। उल्लेखनीय है कि राष्ट्रऋषि नाना जी देशमुख के आत्मनिर्भर एवं स्वावलम्बी ग्रामों के चित्रकूट मॉडल को सम्पूर्ण प्रदेश में विस्तारित करने के उद्देश्य से दीनदयाल शोध संस्थान चित्रकूट और मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद के संयुक्त तत्वावधान में कार्यशाला का आयोजन किया गया है।

मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद के उपाध्यक्ष मोहन नागर ने कहा कि गांव की समृद्धि और विकास के लिये आवश्यक है कि सभी ग्रामवासियों की सम्पूर्ण प्रक्रिया में सक्रिय सहभागिता सुनिश्चित की जाए। तभी स्थायी और सतत परिणाम होंगे। उन्होंने परिषद अमले को कहा कि गांव में सिखाने नहीं सीखने के भाव से जाएं। दीनदयाल शोध संस्थान के संगठन सचिव अभय महाजन ने कहा कि नाना जी का मानना था कि कर्मठता और स्वावलंबन से ही ग्राम जीवन में बदलाव आ सकता है। नाना जी ने अपने समय की समस्त चुनौतियों को संबोधित किया है। उनका विकास मॉडल सर्वे भवंतु सुखिनः का उदघोष करता है।

मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद के कार्यपालक निदेशक डॉ.धीरेन्द्र कुमार पाण्डेय ने कहा कि परिषद की उपस्थिति अधिकांश पंचायतों में है। नवांकुर संस्थाओं और प्रस्फुटन समितियों सहित प्रदेश में सीएमसीएलडीपी के 50 हजार विद्यार्थियों के साथ परिषद सबसे महत्वपूर्ण मैदानी संगठनों में से एक है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव की अपेक्षाओं के अनुरूप इस प्रशिक्षण से परिषद अमले को ग्राम-समाज को समझने और बदलावों की गतिविधियों के चिन्हांकन के लिए महत्वपूर्ण मार्गदर्शन मिलेगा। प्रशिक्षण कार्यशाला में मध्यप्रदेश जन अभियान परिषद राज्य कार्यालय के अधिकारियों सहित समस्त संभाग जिला और विकासखण्ड समन्वयक सहभागिता कर रहे हैं।