Online News Portal for Daily Hindi News and Updates with weekly E-paper

कोलकाता में कुछ डॉक्टरों ने बड़ा फैसला किया, बांग्लादेश से आने वाले मरीजों का इलाज करने से इनकार किया

28
Tour And Travels

कोलकाता
बांग्लादेश में हिंदुओं पर लगातार हो रहे हमलों के बीच पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में कुछ डॉक्टरों ने बड़ा फैसला किया है। उन्होंने बांग्लादेश से आने वाले मरीजों का इलाज करने से इनकार कर दिया है। कोलकाता के माणिकतला स्थित जेएन रे अस्पताल ने बांग्लादेशी मरीजों के इलाज पर रोक लगाने का फैसला किया है। यह निर्णय बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों पर कथित अत्याचार और भारतीय ध्वज के अपमान को लेकर जारी विरोध प्रदर्शन के बीच लिया गया है।

अस्पताल के एक अधिकारी सुभ्रांशु भक्त ने शुक्रवार को समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया, "हमने एक नोटिस जारी किया है कि आज से अनिश्चितकालीन समय तक हम किसी भी बांग्लादेशी मरीज को इलाज के लिए भर्ती नहीं करेंगे। यह निर्णय मुख्य रूप से उनके द्वारा भारत के प्रति दिखाए गए अपमानजनक व्यवहार के कारण लिया गया है।"

अस्पताल प्रशासन ने कोलकाता के अन्य स्वास्थ्य संस्थानों से भी इस तरह के कदम उठाने की अपील की है। उन्होंने इसे बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं के साथ हो रहे कथित दुर्व्यवहार और भारत-विरोधी भावनाओं के खिलाफ एक प्रतीकात्मक विरोध बताया। भक्त ने कहा, "हमने तिरंगे का अपमान होते देखा और यह बहुत ही दुखद है। भारत ने बांग्लादेश की आजादी में अहम भूमिका निभाई थी, लेकिन इसके बावजूद वहां भारत-विरोधी भावनाएं देखने को मिल रही हैं। हमने यह कदम उठाया है और उम्मीद करते हैं कि अन्य अस्पताल भी हमारा साथ देंगे।"

अस्पताल का यह फैसला भारत और बांग्लादेश के बीच संवेदनशील रिश्तों को देखते हुए बहस का मुद्दा बन सकता है। जहां कुछ लोग इसे एक उचित विरोध के रूप में देख सकते हैं, वहीं यह भी सवाल उठेगा कि चिकित्सा सेवाओं को राजनीतिक या सामाजिक विवादों से जोड़ा जाना चाहिए या नहीं।