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लोकसभा चुनाव की ऐसी सीट जहां पूर्व पति-पत्नी का है मुकाबला, एक TMC से दूसरा BJP का उम्मीदवार

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नई दिल्ली, 07मई। लोकसभा चुनाव में पश्चिम बंगाल की बिष्णुपुर सीट पर बेहद दिलचस्प मुकाबला देखने को मिल रहा है. यहां तलाकशुदा दंपत्ति भारतीय जनता पार्टी (BJP) और तृणमूल कांग्रेस (TMC) के टिकट पर आमने सामने हैं और दोनों ही यहां की पेयजल समस्या और खस्ताहाल सड़कों की समस्या दूर करने के वादे कर रहे हैं.

बिष्णुपुर लोकसभा सीट से सौमित्र खान भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर और उनकी तलाकशुदा पत्नी सुजाता मोंदाल तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर अपनी किस्मत आजमा रही हैं. बिष्णुपुर लोकसभा सीट साल 2014 तक भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (एम) का गढ़ थी. इसके बावजूद सौमित्र खान ने 2014 में पहली बार तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर यह सीट जीतने में कामयाबी हासिल की.

2019 में बीजेपी के टिकट पर जीते थे सौमित्र खान
साल 2019 में भाजपा में शामिल होने के बाद फिर से खान ने अपनी जीत दोहराई. स्थानीय लोग बारजोरा, सोनामुखी और ओंदा आदि इलाकों में जल संकट का जिक्र करते हैं और तृणमूल उम्मीदवार सुजाता मोंदाल कहती हैं कि इस समस्या के हल के प्रयास किए जा रहे हैं.
री बार चुनाव लड़ रहे सौमित्र खान ने 2014 में 45.5 प्रतिशत वोट हासिल किए थे. इसके मुकाबले पिछले चुनाव में उन्होंने 46.25 प्रतिशत वोट लेकर अपने निकटतम प्रतिद्वन्द्वी तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार को 78,000 मतों के अंतर से हराया था.

पत्नी ने पिछले चुनाव में संभाली थी कमान
2019 के चुनाव में जब खान पर, उनके खिलाफ लंबित आपराधिक मामलों के सिलसिले में अग्रिम जमानत देते हुए कलकत्ता उच्च न्यायालय ने बांकुड़ा जिले में प्रवेश करने पर प्रतिबंध लगा दिया था, तब उनकी पत्नी सुजाता ने ही बिष्णुपुर में उनके पक्ष में चुनाव प्रचार किया था. इस बारे दोनों की राहें अलग हो चुकी हैं.

सौमित्र खान ने टीएमसी पर लगाए आरोप
सौमित्र खान का आरोप है कि उनके भाजपा में जाने के बाद तृणमूल कांग्रेस ने उन्हें सरकारी नौकरी के इच्छुक अभ्यर्थियों से वसूली करने के मामलों में फंसाया. राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि सुजाता के अथक प्रयासों की वजह से सौमित्र खान 2019 में अपनी सीट बरकरार रख पाए. इसके बाद दोनों अलग हो गए.

बीजेपी से नाराज होकर सुजाता गईं टीएमसी में
दिसंबर 2020 में सुजाता यह दावा करते हुए तृणमूल कांग्रेस में चली गईं कि भाजपा ने उनके प्रयासों के बावजूद उन्हें वह नहीं दिया जिसकी वह हकदार थीं. उन्होंने हुगली जिले की आरामबाग विधानसभा सीट से तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर 2021 का विधानसभा चुनाव लड़ा पर हार गईं.

बिष्‍णुपुर लोकसभा क्षेत्र में साल 2021 के विधानसभा चुनावों में सात सीटों में तृणमूल कांग्रेस ने कुल चार और भाजपा ने तीन विधानसभा सीटें अपने नाम की थीं. इस बार अपनी जीत सुनिश्चित बताते हुए सुजाता मोंदाल ने कहा, ‘मुझे अब जनता के लिए काम करने का सीधा अवसर मिलेगा.’