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हिंदू नामों से बना रखे थे फर्जी पहचान पत्र, टोपी से फंस गए कैफे ब्लास्ट के आरोपी

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नई दिल्ली, 15अप्रैल। बेंगलुरु के रामेश्वरम कैफे में हुए विस्फोट के 42 दिन बाद आखिरकार एनआईए को बड़ी सफलता मिली। एनआईए ने मामले में मुख्य साजिशकर्ता समेत दो आरोपियों को शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों में ए मथीन अहमद ताहा और मुसव्विर हुसैन शाजिब शामिल हैं। शाजिब ने कैफे में विस्फोटक रखा था। वहीं, ताहा विस्फोट की योजना बनाने और उसे अंजाम देने का मुख्य साजिशकर्ता है। इन दोनों लोगों को कोलकाता के पास से गिरफ्तार किया गया। एनआईए के इस ऑपरेशन में केंद्रीय खुफिया एजेंसियों और पश्चिम बंगाल, तेलंगाना, कर्नाटक तथा केरल की राज्य पुलिस एजेंसियों ने मिलकर काम किया। इससे पहले एनआईए ने इन आरोपियों की सूचना देने वाले को 10 लाख रुपये का इनाम रखा था। अब इन आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद कई महत्वपूर्ण जानकारियां सामने आने की उम्मीद है। शुरुआती जानकारी के अनुसार आरोपियों के पास से हिंदू नाम समेत कई अन्य फर्जी आईडी रखे जाने की बात सामने आई है।

शहर की एक अदालत ने शुक्रवार को बेंगलुरू कैफे विस्फोट मामले में दो आरोपियों को तीन दिन की ट्रांजिट रिमांड पर भेज दिया। कोर्ट ने एनआईए को आरोपियों को आगे पूछताछ के लिए कर्नाटक की राजधानी ले जाने की अनुमति दे दी। शहर की सेशन कोर्ट के चीफ जज ने एनआईए के अनुरोध पर उसे ट्रांजिट रिमांड की अनुमति दे दी। एनआईए ने कहा कि आरोपियों अब्दुल मतीन अहमद ताहा और मुस्सविर हुसैन शाजिब को कोलकाता से करीब 190 किलोमीटर दूर पूर्व मेदिनीपुर जिले के दीघा कस्बे में एक होटल से गिरफ्तार किया गया था। गिरफ्तारी के बाद पेशी से पहले आरोपियों को मेडिकल जांच के लिए बिधाननगर राजकीय सामान्य अस्पताल ले जाया गया।

अब्दुल मथीन ताहा और मुसाविर हुसैन शाज़िब दोनों, जो सह-अभियुक्त माज़ मुनीर अहमद के साथ पहले के आतंकी मामलों में भी शामिल थे। ताहा और शाजिब कर्नाटक के शिवमोग्गा जिले के तीर्थहल्ली के निवासी हैं। ताहा एक आईटी इंजीनियर है, जबकि शाजिब पर इस्लामिक स्टेट (आईएस) के शिवमोग्गा स्थित दक्षिणी मॉड्यूल को प्रभावित करने वाला एक प्रमुख व्यक्ति होने का संदेह है। सूत्रों ने कहा कि ताहा और शाजिब कई बार बंगाल में अपना ठिकाना बदलने के बाद पिछले चार दिनों से न्यू दीघा लॉज में छिपे हुए थे। वे 13-14 मार्च को कोलकाता के लेनिन सारणी होटल,होटल पैराडाइज में रुके थे। यहां उन्होंने कर्मचारियों को बताया कि वे दार्जिलिंग से आए हैं और चेन्नई जा रहे हैं। कोलकाता के दो होटलों में, शाजेब ने युशा शाहनवाज पटेल नाम का एक नकली आधार कार्ड इस्तेमाल किया। उसने खुद को पालघर, महाराष्ट्र से होने का दावा किया। ताहा ने खुद को एक स्थान पर कर्नाटक के विग्नेश बीडी और दूसरे स्थान पर अनमोल कुलकर्णी के रूप में पहचानने के लिए फर्जी कागजात का इस्तेमाल किया। दूसरे होटल में उन्होंने अपना परिचय झारखंड और त्रिपुरा के संजय अग्रवाल और उदय दास के रूप में दिया।