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भारत-सेनेगल ने सांस्कृतिक आदान-प्रदान, युवा मामलों में सहयोग और अधिकारियों के लिए वीजा मुक्त व्यवस्था से जुड़े तीन समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए

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भारत, विकास की दिशा में आगे बढ़ते सेनेगल का एक विश्वसनीय भागीदार बनने के लिए प्रतिबद्ध है – उपराष्ट्रपति

उपराष्ट्रपति ने डकार में उद्यमिता प्रशिक्षण एवं विकास केंद्र (सीईडीटी) के उन्नयन के दूसरे चरण की घोषणा की

श्री नायडू ने सेनेगल के राष्ट्रपति के साथ प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता की

उपराष्ट्रपति ने संयुक्त राष्ट्र में अंतर्राष्ट्रीय आतंकवाद पर व्यापक सम्मेलन को शीघ्र अपनाये जाने के सम्बन्ध में सेनेगल का समर्थन मांगा

उपराष्ट्रपति ने कहा, भारत-सेनेगल संबंधों को आगे ले जाने की काफी संभावनाएं हैं

उपराष्ट्रपति श्री एम. वेंकैया नायडू कल सेनेगल पहुंचे, जहां डकार हवाई अड्डे पर सेनेगल की ओर से विदेश मंत्री सुश्री एसाता टाल साल ने उनका स्वागत किया। उपराष्ट्रपति तीन देशों की यात्रा पर हैं। सेनेगल की यह पहली उच्च स्तरीय भारतीय यात्रा है और यह ऐसे समय में हो रही है, जब दोनों देश अपने राजनयिक संबंधों के 60 साल पूरे होने का उत्सव मना रहे हैं।

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उपराष्ट्रपति 1 जून, 2022 को सेनेगल की राजधानी डकार पहुंचे

राजधानी डकार में, श्री नायडू ने सेनेगल के राष्ट्रपति महामहिम श्री मैकी सैल के साथ प्रतिनिधिमंडल स्तर की वार्ता का नेतृत्व किया और सेनेगल को द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय फ्रेमवर्क के माध्यम से सेनेगल के सामाजिक-आर्थिक विकास का समर्थन करने के लिए भारत की निरंतर प्रतिबद्धता का आश्वासन दिया।

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उपराष्ट्रपति नायडू 1 जून, 2022 को डकार में सेनेगल के राष्ट्रपति से मुलाकात करते हुए

इन वार्ताओं के दौरान, विभिन्न क्षेत्रों में द्विपक्षीय साझेदारी को और मज़बूत करने के लिए दोनों पक्षों द्वारा तीन समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए गए। पहला समझौता ज्ञापन राजनयिक और आधिकारिक पासपोर्ट धारकों के लिए वीजा मुक्त व्यवस्था से संबंधित है, जो अधिकारियों/राजनयिकों की निर्बाध यात्रा के माध्यम से दोनों देशों के बीच सहयोग को मजबूत करेगा।

दूसरा समझौता 2022-26 की अवधि के लिए सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम (सीईपी) के नवीनीकरण से संबंधित है। भारतीय और सेनेगल संस्कृति की समृद्धि की सराहना करते हुए, श्री नायडू ने विश्वास व्यक्त किया कि सीईपी के नवीनीकरण के साथ, सांस्कृतिक आदान-प्रदान अधिक होगा, जिससे दोनों देशों के लोगों के बीच आपसी संपर्क मजबूत होंगे।

तीसरा समझौता ज्ञापन युवा मामलों में द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाने से सम्बंधित है। यह स्वीकार करते हुए कि भारत और सेनेगल दोनों अपेक्षाकृत युवा आबादी वाले देश हैं, उपराष्ट्रपति ने विश्वास व्यक्त किया कि यह समझौता ज्ञापन सूचना, ज्ञान, अच्छी प्रथाओं और युवाओं के आदान-प्रदान के माध्यम से दोनों देशों के लिए पारस्परिक रूप से लाभकारी होगा।

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केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ. भारती पवार और सेनेगल की विदेश मंत्री सुश्री एसाता टाल साल ने 1 जून, 2022 को डकार में उपराष्ट्रपति नायडू और सेनेगल के राष्ट्रपति की उपस्थिति में समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए और उनका आदान-प्रदान किया।

अफ्रीका के आदर्श लोकतंत्रों में से एक के रूप में खुद को स्थापित करने के लिए सेनेगल की प्रशंसा करते हुए, उपराष्ट्रपति ने कहा कि दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में भारत इस सन्दर्भ में सेनेगल की सफलता की सराहना करता है। उन्होंने आगे कहा कि लोकतंत्र और धर्मनिरपेक्षता के ये साझा मूल्य दोनों देशों के बीच मधुर और मैत्रीपूर्ण संबंधों के आधार हैं।

उपराष्ट्रपति ने इस तथ्य पर प्रसन्नता व्यक्त की कि भारत-सेनेगल का व्यापार, कोविड-19 महामारी के बावजूद पिछले एक वर्ष के दौरान 37% की वृद्धि के साथ 1.5 बिलियन डॉलर का हो गया है। उन्होंने दोनों देशों के बीच व्यापार में विविधता लाने का भी आह्वान किया और इसके लिए विशेष रूप से कृषि, तेल और गैस, स्वास्थ्य, रेलवे, खनन, रक्षा, हरित ऊर्जा आदि क्षेत्रों पर ध्यान दिए जाने की जरूरत पर बल दिया।

सेनेगल से उर्वरकों के महत्वपूर्ण घटक फॉस्फेट के बड़ी मात्रा में भारतीय आयात का उल्लेख करते हुए, श्री नायडू ने कहा कि भारतीय कंपनियां, विशेष रूप से हैवी अर्थ मूविंग कंपनियां, इस क्षेत्र में अपनी विशेषज्ञता की पेशकश कर सकती हैं।

अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन का सदस्य बनने के लिए सेनेगल को धन्यवाद देते हुए, उपराष्ट्रपति ने कहा कि भारत; आईएसए और एक सूर्य, एक विश्व, एक ग्रिड (ओएसओडब्लूओजी) पहल के तहत सेनेगल के साथ मिलकर काम करने के प्रति आशान्वित है।

यह दोहराते हुए कि भारत विकास की दिशा में सेनेगल का एक विश्वसनीय भागीदार बनने के लिए प्रतिबद्ध है, श्री नायडू ने घोषणा की कि डकार में उद्यमिता प्रशिक्षण और विकास केंद्र (सीईडीटी) के उन्नयन के चरण II को मंजूरी दे दी गई है और इसका कार्यान्वयन जल्द ही शुरू होगा। उल्लेखनीय है कि सीईडीटी की स्थापना 2002 में भारतीय अनुदान सहायता के तहत डकार में की गई थी और हर साल मुख्य रूप से सेनेगल के, लेकिन 19 अन्य अफ्रीकी देशों से भी, लगभग 1000 युवा, इस केंद्र में छह अलग-अलग विषयों में प्रशिक्षण प्राप्त करते हैं।

यह देखते हुए कि सेनेगल, एक फ्रेंच भाषी देश होने के नाते, आईटीईसी के तहत विभिन्न प्रशिक्षण/क्षमता निर्माण कार्यक्रमों का लाभ उठाने में सक्षम नहीं है, जो अंग्रेजी भाषा में हैं, श्री नायडू ने सेनेगल के लोक सेवकों के लिए एक बार में 20 व्यक्तियों के लिए अंग्रेजी प्रशिक्षण पर एक विशेष आईटीईसी पाठ्यक्रम की पेशकश की।

2021 में सुषमा स्वराज इंस्टीट्यूट ऑफ फॉरेन सर्विस (एसएसआईएफएस) और सेनेगल के विदेश मंत्रालय के बीच हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापन का उल्लेख करते हुए, उपराष्ट्रपति ने इस साल के अंत में एसएसआईएफएस में सेनेगल के 15 राजनयिकों के एक बैच को प्रशिक्षण देने की घोषणा की।

यह स्वीकार करते हुए कि अफ्रीकी छात्र उच्च अध्ययन के लिए भारत आते हैं, श्री नायडू ने ई-विद्या भारती और ई-आरोग्य भारती (ई-वीबीएबी) पहल (टेली-एजुकेशन और टेली-मेडिसिन) को लागू करने में सेनेगल के साथ सहयोग बढ़ाने का आह्वान किया, जिससे सेनेगल के छात्रों को लाभ मिलेगा।

वार्ता के दौरान उपराष्ट्रपति ने एम.वी. एसो -6 जहाज के चालक दल के सदस्यों – चार भारतीय नागरिकों, जिन्हें कथित मादक पदार्थों की तस्करी के आरोप में जून 2021 से सेनेगल में हिरासत में रखा गया है के सम्बन्ध में सेनेगल सरकार से उनके मुकदमे में तेजी लाने का अनुरोध किया, ताकि रिहा होने पर वे अपने चिंतित परिवारों के पास पहुँच सकें।

श्री नायडू ने सेनेगल की अर्थव्यवस्था में उनके बहुमूल्य योगदान के लिए लगभग 2000 भारतीय नागरिकों के छोटे समुदाय की सराहना की और भारतीय नागरिकों की देखभाल करने के लिए सेनेगल सरकार को धन्यवाद दिया।

भारत की स्थायी यूएनएससी सदस्यता के लिए सेनेगल के समर्थन की सराहना करते हुए, श्री नायडू ने सामान्य अफ्रीकी स्थिति के लिए भारत के अटूट समर्थन को दोहराया, जो एजुलविनी सर्वसम्मति और सिर्ते घोषणा में निहित है। उन्होंने अफ्रीकी महाद्वीप के साथ किए गए ऐतिहासिक अन्याय का सुधार करने की आवश्यकता को रेखांकित किया।

प्रभावी बहुपक्षवाद की आवश्यकता पर बल देते हुए, श्री नायडु ने गुटनिरपेक्ष आंदोलन (एनएएम) को फिर से सक्रिय और मज़बूत करने तथा विकासशील दुनिया के लिए प्रासंगिक समकालीन मुद्दों के प्रति इसे और अधिक संवेदनशील व जवाबी कारवाई के लिए तत्पर बनाने का आह्वान किया। सभी रूपों और अभिव्यक्तियों में आतंकवाद की निंदा करते हुए, उन्होंने संयुक्त राष्ट्र में अंतर्राष्ट्रीय आतंकवाद पर व्यापक सम्मेलन (सीसीआईटी) को जल्द से जल्द अपनाये जाने के लिए सेनेगल का समर्थन मांगा और इसे सीमा पार आतंकवाद के खतरे से निपटने के लिए महत्वपूर्ण बताया।

वार्ता के दौरान, उप राष्ट्रपति ने सेनेगल को अफ्रीकी संघ की अध्यक्षता ग्रहण करने पर बधाई दी। उन्होंने हाल ही में ‘अफ्रीका कप ऑफ नेशंस’ फुटबॉल टूर्नामेंट में ‘लायंस ऑफ टेरांगा’ की जीत के लिए राष्ट्रपति और सेनेगल के लोगों को बधाई दी और कतर में फीफा टूर्नामेंट के लिए सेनेगल की टीम को शुभकामनाएं दीं।

इस अवसर पर स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री डॉ भारती प्रवीण पवार, संसद सदस्य श्री सुशील कुमार मोदी, श्री विजय पाल सिंह तोमर और श्री पी. रवींद्रनाथ तथा वरिष्ठ अधिकारी व गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।